Ballia News: मुर्गीफार्म संचालक हत्याकांड का पर्दाफास, छह गिरफ्तार



बलिया। भीमपुरा थाना क्षेत्र के लखुबरा गांव में 21 दिन पूर्व मुर्गिफार्म संचालक की हुई जघन्य हत्या की घटना का मंगलवार को पुलिस ने अनावरण किया। घटना का मुख्य षड्यंत्रकारी मृतक का भतीजा ही निकला। पुलिस की माने तो उसके साथ कुल 8 लोगों ने घटना को अंजाम देने का काम किया है, जिसमें तीन साजिशकर्ता और 5 हत्या करने में शामिल रहे। तीन साजिशकर्ताओं और तीन हत्यारों को पुलिस व एसओजी की टीम ने बरौली नहर पुलिया के पास से गिरफ्तार करने में कामयाब रही, लेकिन अभी भी दो हत्यारे पुलिस की गिरफ्त से दूर है। 

इस घटना के खुलासे के दिन हत्यारों को देखने के लिए थाने में ग्रामीणों की भारी भरकम भीड़ इक्कट्ठी हो गयी थी। उनके पास से 6 मोबाइल, एक अबैध तमंचा व जिंदा कारतूस, दो चाकू, दो बाइक, दो डंडा बरामद किया गया है। बता दे कि क्षेत्र के लखुबरा गांव निवासी चंद्रभान का 25 नवम्बर की रात को अपने मुर्गिफार्म पर सोते समय जघन्य हत्या का प्रयास किया था, जिसकी इलाज के दौरान वाराणसी में मौत हो गयी थी। 

परिजनों से तहरीर मिलने के बाद मुकदमा दर्ज करते हुए हत्यारों की तलाश में पुलिस व एसओजी की टीम जुटी हुई थी। इस दौरान निर्दोष युवको को थाने लाकर पूछताछ करने पर ग्रामीणों ने थाने में धरना प्रदर्शन भी किया था, जिसमें घटना का मुख्य षड्यंत्रकारी मृतक का भतीजा गौरव चौहान उर्फ बजरंगी ही निकला। 

पुलिस की माने तो मृतक का चचेरा भाई गांव में ननिहाल में रहने वाले युवक रजनीश चौहान के साथ मिलकर हत्या की साजिश रची थी, जिसमे अन्य युवकों को शामिल किया था। पुलिस ने घटना में शामिल लखुबरा गांव के विराट चौहान, गौरव चौहान, सुमित चौहान और मऊ जनपद के घोसी कोतवाली क्षेत्र के रजनीश चौहान और विनित भारती व मधुबन थाना क्षेत्र के अंकुर चौहान को बरौली नहर पुलिया से गिरफ्तार कर लिया। वहीं मऊ जनपद के ही दो हत्यारे अभी भी फरार है।                

 घर के हत्यारे को ही ढूढने में पुलिस को लग गए 21 दिन

मुर्गिफार्म संचालक की हत्या के पीछे पारिवारिक विवाद ही रहा। लेकिन हत्या में शामिल गजर के हत्यारों तक पहुँचने में पुलिस को 21 दिन लग गए। जबकि निर्दोष युवकों को थाने लाकर पुछे जाने से नाराज ग्रामीण दबी जुबान यह कहते रहे कि पुलिस घर के मामलों की जांच करे तो मामला साफ हो जाएगा। फिर पुलिस को इतना समय लगा। 

जमीनी विवाद बना हत्या का कारण

चंद्रभान की हत्या के पीछे परिवारिक रंजिस रही जो पैसे के लेनदेन से शुरु हुई और जमीन बंटवारे तक मौत के खेल में बदल गयी। इस दौरान चंद्रभान की मोबाइल चोरी व उसके बीबी बच्चों के मारपीट से लेकर घर मे खड़ी बाइक फूंकने तक की घटनाएं घट चुकी है। जो एक दूसरे की क्रिया प्रतिक्रिया बताई जा रही थी। उसके बाद भी जी नहीं भरा तो मामला चंद्रभान की हत्या तक पहुँच गया। 

मृतक अपने मुर्गिफार्म पर अबैध रुप से बिजली जलाता था। जिसके पकड़े जाने पर विभाग ने लाखों का फाइन ठोक दिया था। विभाग की कार्यवाई के पीछे मृतक के चाचा का हाथ बताते थे। इन सारी घटनाओं को पकड़े जाने के बाद साजिशकर्ताओं ने कबूल किया है।

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