पति के शव पर रोते-रोते पत्‍नी की भी चली गई जान, पुत्र ने एक ही चिता पर मां- बाप को दीकं मुखाग्नि

 


गोरखपुर। बुदहट निवासी बालगोविंद मिश्रा (75 वर्ष) गोरखपुर विश्वविद्यालय से बड़े बाबू के पद से रिटायर हुए थे। रिटायरमेंट के बाद वे गांव पर ही परिवार के साथ रहते थे। शुक्रवार सुबह करीब दस बजे अचानक उनका निधन हो गया। 

पति की मौत से स्तब्ध उनकी पत्नी शोभा (73 वर्ष) शव के पास विलाप कर रही थीं। इसी बीच उनके भी प्राण पखेरू उड़ गए। उनके बेटे ने बताया कि करीब दस मिनट के अंतराल पर ही माता-पिता का साया उनके सिर से उठ गया। बुजुर्ग दंपति की एक साथ अर्थी उठी तो परिवार के साथ गांव के लोग भी शोकाकुल हो गए। 

उनके बड़े पुत्र चंद्रप्रकाश ने बड़हलगंज स्थित मुक्तिधाम पर एक ही चिता पर उन्हें मुखाग्नि दी। चंद्रप्रकाश ने बताया कि माता-पिता एक-दूसरे से बहुत प्रेम करते थे। वे हमेशा एक साथ ही भोजन करते। गांव के लोगों के अनुसार बुजुर्ग दंपति काफी धार्मिक प्रवृत्ति के थे।

Previous article
Next article

Ads Post 2

Ads Post 3